Why do our eyes turn red in pictures?
अंधेरे मे flash की सहायता से ली गई तस्वीरों मे आँखें लाल क्यूँ नजर आती है ओर ऐसा दिन या उजाले में ली गई तस्वीरों में कभी क्यों नहीं होता?
रात मे flash की सहायता से ली गई तस्वीरों मे आँखें बड़ी ही अजीब सी लाल नजर आती है जब की बिना flash के ली गई तस्वीरों या दिन मे खींची गई तस्वीरों मे ऐसा नही होता है। चलिये देखते है। ऐसा क्यो ?
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दिन मे ली गई तस्वीरों मे ऐसा क्यूँ नही होता है
जिस प्रकार किसी camera को काम करने के लिए external lights की जरूरत होती है। उसी प्रकार हमारी आँखों को भी काम करने के लिए light की जरूरत होती है। पर हमारी आँखों के अंदर मौजूद वो परत(retina) जो light को sense करती है - photoreceptor cells, वो बहुत ही नाज़ुक होते है। उन्हे अगर एक मात्रा से ज्यादा light मिले तो उन्हे नुकसान हो सकता है तो यह सुनिश्चित करने के लिए की photoreceptor cells तक सही मात्रा मे light पहुचे हमारी आँखों मे एक गोल खिड़की मौजूद होती है - जिसे pupil या पुतली कहते है। जिस प्रकार आप किसी खिड़की को कम या ज्यादा बंद कर के कमरे मे आ रही light को कम या ज्यादा कर सकते है। उसी प्रकार इस यह pupil या पुतली भी छोटा या बड़ा हो सकता है जिसकी मदद से आंखे अपने अंदर पहुचने वाली light की मात्रा को control कर पाती है। दिन मे या ज्यादा light वाले माहौल मे क्यूकी light की कोई कमी नही होती है। इसलिए pupil का यह दरवाज़ा कम खुला ( सिकुड कर छोटा हो जाता है ) होता है। इतना कम की कोई light जो इसके अंदर जाती है वो reflect हो कर बाहर नही आती है। इस लिए जब हम दिन मे फोटो खिचते है तो हमे आँख का केवल वही हिस्सा दिखता है जो इस pupil के बाहर होता है। पर अंधेरे मे जहा light बहुत कम होती है ऐसी स्थितीति मे पर्याप्त light उन photoreceptor cells तक पहुचे यह सुनिश्चित करने के लिए pupil का दरवाज़ा बड़ा हो जाता है। जिसके कारण आँख ज्यादा photons या light के इकाइयों को अपने अंदर ले पाते है। और जिसके कारण हम रात मे भी काफी ठीक ठाक तरीके से देख पाते है। पर जिस प्रकार किसी खिड़की को खोलने या बंद करने मे समय लगता है उसी प्रकार आँख को भी अपने pupil को छोटा या बड़ा करने मे एक समय लगता है।
अंधेरे मे ली गई तस्वीरों मे ही ऐसा क्यूँ होता है
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जब हम अंधेरे मे होते है या कम प्रकाश वाली जगहों पर तब हमारी pupil की opening बढ़ी हुई होती है। ओर जब हम अंधेरे मे तस्वीर लेने के लिए अपने camera का flash light चालू करते है तो आचनक से ही बहुत ज्यादा light हो जाती है। इतना जल्दी की आँखों को अपनी pupil के आकार को छोटा करने का time ही नही मिल पाता है। और इस कारण कुछ light जो आँख के अंदर पहुँच जाती है वो reflect हो कर बाहर आ जाती है। pupil के सिकुड पाने के पहले ही । जो फिर camera के lens मे जाती है। क्यूकी photoreceptor cells के पास की नसें लाल रंग की होती है इस लिए pupil के अंदर से reflect हो कर आई light जो camera मे पहुँचती है वो भी लाल रंग की ही होती है। जिस कारण हमे अंधेरे मे ली गई photos मे हमारी आँखें अजीब और लाल रंग की दिखाई देती है।
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तो अब हमे समझ मे आ गया की आखिर समस्या क्या है जिस कारण रात मे ली गई photos मे आँखें अजीब और लाल क्यूँ नजर आती।
अंधेरे मे तस्वीर लेने की इस समस्या का समाधान क्या है
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